पर्सनल फाइनेंस
3 min read | अपडेटेड April 22, 2025, 11:38 IST
सारांश
8th Central Pay Commission: 7वें वेतन आयोग का कार्यकाल अगले साल खत्म होने जा रहा है और आमतौर पर हर 10 साल में नए आयोग का गठन किया जाता है। 8वें वेतन आयोग में डेप्युटेशन आधार पर भर्तियों के लिए सर्कुलर जारी कर दिया गया है। उम्मीद की जा रही थी कि अगले वित्त वर्ष से आयोग के प्रस्तावों को लागू किया जा सकता है।
केंद्र सरकार ने 8वें वेतन आयोग के लिए डेप्युटेशन पर भर्तियों की प्रक्रिया शुरू कर दी है।
हालांकि, उसके बाद से इसकी टाइमलाइन, सदस्यों के चयन जैसे आधिकारिक फैसलों के बारे में कोई जानकारी सामने नहीं आई थी। अब केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनधारकों का इंतजार खत्म होने के संकेत मिलने लगे हैं।
दरअसल केंद सरकार ने नए वेतन आयोग के अलग-अलग पदों के लिए भर्तियों का सर्कुलर जारी किया है। वित्त मंत्रालय के व्यय विभाग (Department of Expenditure) ने 8वें वेतन आयोग के लिए 35 पदों को डेप्युटेशन के आधार पर भरने के लिए प्रस्ताव दिया है। ये अधिकारी आयोग में अपना काम पूरा करने के बाद अपने वास्तविक पदों पर लौट जाएंगे।
व्यय विभाग के मुताबिक 8वें वेतन आयोग के गठन से लेकर इसका काम पूरा होने तक के लिए डेप्युटेशन के आधार पर 35 पदों को भरने का प्रस्ताव दिया गया है। डिपार्टमेंट ऑफ पर्सनेल ऐंड ट्रेनिंग (DoPT) के नियमों के आधार पर इन भर्तियों को पूरा किया जाएगा।
केंद्र सरकार के कर्मचारी 8वें वेतन आयोग का हिस्सा बनने के लिए आवेदन दे सकते हैं। इसके लिए उन्हें आधिकारिक फॉर्म के साथ अपना नॉमिनेशन/आवेदन भेजना होगा। इसके अलावा 5 साल की सालाना पर्सनल असेसमेंट रिपोर्ट (APAR), विजिलेंस क्लियरेंस जैसे दस्तावेज भी जमा करने होंगे।
हालांकि, पदों को भरने के लिए कोई आखिरी तारीख नहीं है और जैसे-जैसे सरकार को उपयुक्त आवेदन मिलते जाएंगे, पदों की भर्ती की प्रक्रिया पूरी कर ली जाएगी।
उम्मीद की जा रही थी कि 8वें वेतन आयोग की रिपोर्ट 2026 में जारी होने के बाद अगले वित्त वर्ष में लागू हो सकती है। यूं तो नई भर्तियों के सर्कुलर से प्रक्रिया के आगे बढ़ने का भरोसा तो मिला है लेकिन इनके पूरे होने के बाद आयोग का काम शुरू हो सकेगा।
उसके बाद आयोग अलग-अलग हितधारकों से चर्चा करने के बाद रिपोर्ट पर काम करेगा। ऐसे में इसके आने में और भी वक्त लग सकता है। अभी आयोग के चेयरपर्सन, दो सदस्यों और सेक्रटरी स्तर के ब्यूरोक्रैट की नियुक्ति पर फैसला भी होना है।
इसके अलावा आयोग जिन टर्म्स ऑफ रेफरेंस के आधार पर आयोग केंद्रीय कर्मचारियों के वेतन और पेंशनधारकों के भत्तों पर निर्णय करेगा, उनके ऊपर भी फैसला होना है।
मनीकंट्रोल के साथ बातचीत में व्यय विभाग के सचिव मनोज गोविल ने संभावना जताई थी कि आयोग के प्रस्ताव फाइनल होने में एक साल का वक्त लग सकता है।
मौजूदा 7वें वेतन आयोग का कार्यकाल 2026 में पूरा हो जाएगा। आमतौर पर हर 10 साल में एक बार वेतन आयोग का गठन होता है और सरकार के स्टाफ के वेतन, पेंशन और दूसरे भत्तों का रिव्यू करता है।
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