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EPFO Claims: FY25 में ईपीएफओ ने सेटल किए रेकॉर्डतोड़ ₹2,05,932.49 करोड़ के क्लेम

Upstox

3 min read | अपडेटेड February 07, 2025, 08:07 IST

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सारांश

EPFO Claims: केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री मनसुख मांडविया ने इस उपलब्धि का श्रेय कई अहम बदलावों को दिया जिनके आधार पर क्लेम सेटल करना आसान और तेज किया गया है, और EPFO सदस्यों की परेशानियों को कम किया जा सका है।

संगठन ने वित्त वर्ष 203-24 में ₹1,82,838.28 करोड़ के 4.45 करोड़ क्लेम सेटल करने के अपने पुराने रेकॉर्ड को तोड़ दिया है।

संगठन ने वित्त वर्ष 203-24 में ₹1,82,838.28 करोड़ के 4.45 करोड़ क्लेम सेटल करने के अपने पुराने रेकॉर्ड को तोड़ दिया है।

कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (Employees' Provident Fund Organisation, EPFO) ने वित्त वर्ष 2024-25 में रेकॉर्डतोड़ क्लेम सेटल कर डाले हैं। केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री मनसुख मांडविया ने बताया है कि सगंठन ने इस वित्त वर्ष में ₹2,05,932.49 करोड़ की कीमत के 5.08 करोड़ क्लेम सेटल किए हैं जो उसके इतिहास में सबसे ज्यादा है। संगठन ने वित्त वर्ष 203-24 में ₹1,82,838.28 करोड़ के 4.45 करोड़ क्लेम सेटल करने के अपने पुराने रेकॉर्ड को तोड़ दिया है।

बेहतर हुई है क्षमता

मांडविया ने इस उपलब्धि का श्रेय कई अहम बदलावों को दिया जिनके आधार पर क्लेम सेटल करना आसान और तेज किया गया है, और EPFO सदस्यों की परेशानियों को कम किया जा सका है। उन्होंने बताया, ‘हमने कई बड़े कदम उठाए हैं, जिनमें खुद सेटल हो जाने वाले क्लेम्स की सीमा और कैटिगिरी को बढ़ाना, सदस्यों की प्रोफाइल में बदलाव को आसान करना, PF ट्रांसफर को आसान करना और KYC के पालन के अनुपात को बेहतर करना शामिल हैं। इन बदलावों की मदद से EPFO की क्षमता बेहतर हुई है।’

दोगुने सेटलमेंट

तेज रफ्तार से क्लेम के प्रोसेस होने में एक बड़ी भूमिका निभाई है ऑटो-क्लेम सेटलमेंट प्रक्रिया ने। इसके जरिए यह सुनिश्चित किया जाता है कि जमा करने के तीन दिन के अंदर क्लेम को सेटल कर दिया जाए। इस वित्त वर्ष में ऑटो-क्लेम सेटलमेंट पिछले साल की तुलना में करीब दोगुना होकर 89.52 लाख से 1.87 करोड़ पर पहुंच गया।

आसान पीएफ ट्रांसफर

PF ट्रांसफर के लिए क्लेम जमा करने की प्रक्रिया में बदलाव के भी सकारात्मक नतीजे देखने को मिले हैं। ट्रांसफर क्लेम का आवेदन आसान कर दिया गया है। अब सिर्फ 8% ऐसे ट्रांसफर क्लेम हैं जिनमें सदस्यों और नियोक्ताओं के अटेस्टेशन की जरूरत होती है। वहीं, 48% क्लेम सदस्य सीधे, बिना नियोक्ता की जरूरत के सीधे जमा कर सकते हैं और 44% ट्रांसफर आवेदन खुद ही जनरेट हो जाते हैं।

प्रोफाइल सेल्फ-अपेडट

सदस्यों की प्रोफाइल को सुधारने के लिए किए गए बदलावों की सफलता पर मांडविया ने कहा कि 97.18% बदलाव सदस्य खुद ही अप्रूव कर सके हैं जबकि सिर्फ 1% में नियोक्ता के अप्रूवल की और उससे भी कम सिर्फ 0.4% में ऑफिस के दखल की जरूरत पड़ती है।

इसके अलावा रिजेक्शन रेट भी कम हो गया है। सिर्फ 1.11% केस ऐसे हैं जिन्हें नियोक्ता ने खारिज किया है और 0.21% केस ऐसे हैं जिन्हें ऑफिस ने खारिज किया है।

मांडविया ने कहा कि इन बदलावों के आधार पर न सिर्फ क्लेम सेटलमेंट की प्रक्रिया तेज हुई है बल्कि सदस्यों की शिकायतें और परेशानियां भी कम हुई हैं। इससे EPFO के ऊपर सदस्यों का विश्वास भी गहरा हुआ है।

लेखकों के बारे में

Upstox
Upstox Hindi News Desk पत्रकारों की एक टीम है जो शेयर बाजारों, अर्थव्यवस्था, वस्तुओं, नवीनतम व्यावसायिक रुझानों और व्यक्तिगत वित्त को उत्साहपूर्वक कवर करती है।

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