मार्केट न्यूज़
3 min read | अपडेटेड November 30, 2024, 16:58 IST
सारांश
Infosys, Wipro, Pidilite Industries, Titan, और Asian Paints 30 सालों में 20% से ज्यादा सीएजीआर (कंपाउंडेड एनुअल ग्रोथ रेट) के साथ दलाल स्ट्रीट पर वेल्थ क्रिएटर्स के रूप में उभरे हैं। इन कंसिस्टेंट कंपाउंडर्स ने बाय-एंड-होल्ड इन्वेस्टर्स को कई गुना रिटर्न दिया है।
1994 के बाद से 20 फीसदी से अधिक CAGR वाले टॉप-5 स्टॉक्स
भारत के सबसे पुराने शेयर इंडेक्स सेंसेक्स ने इस साल 85,000 का आंकड़ा पार करने का माइलस्टोन हासिल किया है। पिछले 30 सालों में, इसने स्टेबल 10.89% CAGR के साथ जबर्दस्त प्रदर्शन किया है। 1994 में सेंसेक्स 6,000 मार्क के आसपास कारोबार कर रहा था। नीचे दिए गए पांच स्टॉक 1994 में लिस्ट किए गए थे और 20% से अधिक CAGR से जुड़े थे। 20% का CAGR बताता है कि स्टॉक की कीमत हर 4-5 साल में दोगुनी हो जाती है। इसमें ज्यादातर कंपनियां ऐसी हैं, जिनका नाम आपको अच्छे से पता होगा, जहां इंफोसिस 29.42% CAGR के साथ लिस्ट में टॉप पर है। भारी-भरकम रेट ऑफ रिटर्न बताता है कि स्टॉक की कीमत हर 3 साल में दोगुनी हो गई है।
इंफोसिस के बारे में हम सभी जानते ही हैं, यह कंसल्टिंग, टेक्नॉलजी, आउटसोर्सिंग और नेक्स जनरेशन डिजिटल सर्विस अपने क्लाइंट्स को देती है, यह टीसीएस के बाद भारत की दूसरी सबसे बड़ी इंफॉर्मेशन टेक्नॉलजी कंपनी है। स्टॉक प्राइस ने पिछले 30 सालों में 29.42% का हाइएस्ट CAGR रिटर्न दिया है। 1993 में, इंफोसिस ने अपनी इनिशियल पब्लिक ऑफरिंग (आईपीओ) लॉन्च की, जिसे शुरू में कम सब्सक्राइब किया गया था। हालांकि, मॉर्गन स्टेनली ने 13% इक्विटी हिस्सेदारी हासिल कर ली।
विप्रो लिमिटेड एक ग्लोबल इंफॉर्मेशन टेक्नॉलजी, कंसल्टिंग और बिजनेस प्रोसेस सर्विस (बीपीएस) कंपनी है। यह ग्लोबल आईटी सर्विस इंडस्ट्री में टीसीएस, इंफोसिस और एचसीएल टेक्नॉलजीज के बाद चौथा सबसे बड़ा भारतीय खिलाड़ी है। पिछले 30 सालों में स्टॉक की कीमत 24.07% CAGR से बढ़ी है। 1945 में मोहम्मद हुसैन हाशम प्रेमजी द्वारा महाराष्ट्र के अमलनेर में वेस्टर्न इंडिया वेजिटेबल प्रोडक्ट्स लिमिटेड के रूप में इसकी स्थापना की गई थी। कंपनी 1947 में बीएसई पर लिस्ट हुई और 1990 में सॉफ्टवेयर में अपने कारोबार को बढ़ाया है।
पिडिलाइट इंडस्ट्रीज भारत में चिपकने वाले और सीलेंट, कंस्ट्रक्शन केमिकल, क्राफ्टमेन प्रोडक्ट, DIY प्रोडक्ट और पॉलिमर इमल्शन का बड़े स्तर पर प्रोडक्शन करता है। इसने पिछले 30 सालों में CAGR का 23.83% रिटर्न दिया है। 1954 में, पारेख ने मुंबई में सिंथेटिक गोंद बनाने का एक छोटा सा बिजनेस शुरू किया। 1959 में, पारेख ने कंपनी का नाम पिडिलाइट इंडस्ट्रीज लिमिटेड रखा और इंडस्ट्रियल कंस्ट्रक्शन का प्रोड्क्शन शुरू किया। आज, पिडिलाइट भारत में एडहेसिव और सीलेंट का सबसे बड़ा निर्माता है।
टाइटन कंपनी लिमिटेड भारत की सबसे सम्मानित लाइफस्टाइल कंपनियों में से एक है। इसने अपने ट्रस्टेड ब्रांड्स और खास कस्टमर एक्सपीरियंस के कारण घड़ियां, ज्वेलरी और आईवियर (चश्मा) कैटेगरी में लीडर के तौर पर नाम बनाया है। इसकी स्थापना 1984 में TATA ग्रुप और तमिलनाडु इंडस्ट्रियल विकास डेवलपमेंट कॉर्पोरेशन (TIDCO) के बीच एक ज्वॉइंट वेंचर के रूप में की गई थी। पिछले 30 सालों में स्टॉक ने 22.18% का CAGR पैदा किया है। इसे 1987 में बीएसई पर लिस्ट किया गया था।
एशियन पेंट्स भारत की सबसे बड़ी होम डेकोर कंपनी है। 80+ साल पुरानी कंपनी के पास एशियन पेंट्स, बर्जर, एप्को जैसे प्रमुख ब्रांड हैं। स्टॉक ने अपने शेयरहोल्डर्स को 30 सालों में CAGR का 20.68% रिटर्न दिया है। 1942 में कंपनी की स्थापना मुंबई के एक गैरेज में हुई थी। 1982 में, एशियन पेंट्स ने एक आईपीओ लॉन्च किया और इसे बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) में लिस्ट किया गया।
डिस्क्लेमर: हम किसी विशेष स्टॉक, सिक्योरिटीज या ट्रेडिंग स्ट्रैटजी को रेकमंड नहीं करते हैं। यहां दी गई किसी भी स्टॉक की जानकारी सिर्फ आपके एनालिसिस के लिए है। इन्वेस्ट करने से पहले अपना निर्णय खुद लें।
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