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4 min read | अपडेटेड September 13, 2025, 10:40 IST
सारांश
यहां हम कुछ ऐसे लार्ज कैप स्टॉक्स के बारे में बताने जा रहे हैं, जो अपने 52-वीक लो के आसपास ट्रेड कर रहे हैं। इनमें टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS), ITC, Sun Pharmaceutical, REC, United Spirits और Bajaj Housing Finance शामिल हैं। यहां हमने इन स्टॉक्स से जुड़ी पूरी जानकारी दी है।
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52-Week Low Stocks: टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS) आईटी सेक्टर की सबसे बड़ी कंपनी है।
यहां हम कुछ ऐसे लार्ज कैप स्टॉक्स के बारे में बताने जा रहे हैं, जो अपने 52-वीक लो के आसपास ट्रेड कर रहे हैं। इन शेयरों में टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS), ITC, Sun Pharmaceutical, REC, United Spirits और Bajaj Housing Finance शामिल हैं। यहां हमने इन स्टॉक्स से जुड़ी पूरी जानकारी दी है।
टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS) आईटी सेक्टर की सबसे बड़ी कंपनी है। शुक्रवार को यह स्टॉक 0.32 फीसदी की बढ़त के साथ 3134.05 रुपये के भाव पर बंद हुआ है। यह शेयर अपने 52-वीक लो 2992.05 रुपये के करीब है। आईटी सेक्टर में कमजोरी के बीच इस शेयर पर दबाव बना हुआ है। ग्लोबल क्लाइंट्स खर्च कम कर रहे हैं और प्रोजेक्ट डिले हो रहे हैं। इसके अलावा, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और ऑटोमेशन के चलते पारंपरिक आईटी सर्विस मॉडल पर सवाल उठ रहे हैं, जिससे भविष्य की आमदनी का अनुमान घटा है। कुछ समय पहले कंपनी ने वर्कफोर्स कटौती और लागत नियंत्रण की बात भी की, जिससे निवेशकों का भरोसा घटा।
FMCG सेक्टर की दिग्गज कंपनी आईटीसी के शेयरों में शुक्रवार को दबाव दिखा और यह 0.34 फीसदी टूटकर 413.60 रुपये पर बंद हुआ। इसका 52-वीक लो 391.50 रुपये और 52-वीक हाई 500.01 रुपये है। निवेशक ITC की धीमी ग्रोथ और सेक्टर से जुड़ी चुनौतियों को लेकर सतर्क हो गए हैं। जून तिमाही में इसका नेट प्रॉफिट सालाना 3 फीसदी बढ़कर ₹5244.2 करोड़ हो गया। वहीं, इसका रेवेन्यू 19.5% बढ़कर ₹23129.35 करोड़ पर पहुंच गया।
Sun Pharma के शेयर शुक्रवार को 0.41% की बढ़त के साथ 1616.25 रुपये के भाव पर पहुंच गए। यह 52-वीक लो 1555 रुपये के करीब है, जबकि इसका 52-वीक हाई 1960.20 रुपये है। इस कंपनी पर दबाव की बड़ी वजह ताजा तिमाही में प्रॉफिट का गिरना रहा है, जबकि रेवेन्यू बढ़ा था। बढ़ते खर्च और मार्जिन पर दबाव ने भी स्टॉक को 52-वीक लो तक पहुंचाया।
REC के शेयरों में शुक्रवार को 0.35 फीसदी की गिरावट रही और यह 373.40 रुपये के भाव पर बंद हुआ है। इसका 52-वीक लो 348.65 रुपये, जबकि 52-वीक हाई 576.95 रुपये है। REC जैसे पावर सेक्टर के फाइनेंसिंग स्टॉक्स पर ब्याज दरों के ऊंचे स्तर का दबाव है। उधारी की लागत बढ़ने से NBFCs के मार्जिन पर असर पड़ रहा है। हालांकि, FY26 की पहली तिमाही में कंपनी का नेट प्रॉफिट सालाना आधार पर 29 फीसदी बढ़ा था। इसकी कुल आय भी 13 फीसदी बढ़ी है।
United Spirits का शेयर शुक्रवार को 0.76 फीसदी टूटकर 1309.40 रुपये के भाव पर आ गया। इसका 52-वीक लो 1270.50 रुपये और 52-वीक हाई 1700 रुपये है। जून तिमाही में कंपनी का प्रॉफिट 14 फीसदी घटकर 417 करोड़ रुपये पर आ गया। वहीं, इसके रेवेन्यू में मामूली बढ़ोतरी दर्ज की गई। यह भारत की दिग्गज शराब कंपनी है जो कई तरह के शराब और संबंधित प्रोडक्ट्स बनाती और बेचती है।
Bajaj Housing Finance का शेयर शुक्रवार को 0.09 फीसदी की मामूली बढ़त के साथ 112.05 रुपये पर बंद हुआ है। इस कंपनी की लिस्टिंग को करीब एक साल हो गए हैं। इसके शेयर इश्यू प्राइस 66-70 रुपये के मुकाबले 114 फीसदी प्रीमियम के साथ 150 रुपये के भाव पर लिस्ट हुए थे। हालांकि, इसके बाद इसमें लगातार बिकवाली हो रही है और यह करीब 33 फीसदी टूट गया है।
जून तिमाही में इसका नेट प्रॉफिट सालाना 21 फीसदी बढ़कर ₹583 करोड़ हो गया। इसका एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM) भी 24 फीसदी बढ़कर 1.2 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच गया।
मार्केट में अक्सर “बाय ऑन डिप्स” रणनीति का जिक्र होता है। इसका मतलब है कि जब किसी मजबूत या बड़ी कंपनी का शेयर काफी गिरावट के बाद 52-वीक लो पर पहुंचता है, तो कुछ निवेशक इसे एंट्री का अवसर मानते हैं। हालांकि, जरूरी नहीं कि हर स्टॉक में यह स्ट्रेटेजी काम आए। कई बार शेयरों में लंबी अवधि की गिरावट भी देखने को मिलती है। ऐसे में किसी भी निर्णय से पहले कंपनी के फंडामेंटल्स, सेक्टर ट्रेंड्स और बाजार की स्थिति को समझना जरूरी होता है।
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