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  1. मोबाइल IMEI में छेड़छाड़ पड़ेगी भारी: हो सकती है 3 साल तक जेल और ₹50 लाख जुर्माना

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मोबाइल IMEI में छेड़छाड़ पड़ेगी भारी: हो सकती है 3 साल तक जेल और ₹50 लाख जुर्माना

Upstox

2 min read | अपडेटेड November 18, 2025, 14:26 IST

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सारांश

Mobile IMEI: सरकार का कहना है कि IMEI नंबर से छेड़छाड़ करने से अपराधियों को ट्रैक करना मुश्किल हो जाता है। इसलिए देश की टेलीकॉम सुरक्षा को मजबूत करने के लिए IMEI रजिस्ट्रेशन और उसके साथ छेड़छाड़ पर पूरी तरह रोक लगाई गई है।

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नए टेलीकम्युनिकेशन एक्ट 2023 में IMEI से छेड़छाड़ पर कड़े प्रावधान किए गए हैं।

Mobile IMEI: मोबाइल फोन के 15 अंकों वाले IMEI नंबर से छेड़छाड़ करना अब एक गंभीर और गैर-जमानती अपराध है। दूरसंचार विभाग ने सोमवार को यह जानकारी दी। अगर कोई IMEI नंबर या किसी भी टेलीकॉम पहचान नंबर से छेड़छाड़ करता है तो उसे 3 साल तक की जेल, 50 लाख रुपये तक का जुर्माना या दोनों हो सकते हैं। दूरसंचार विभाग ने सभी मोबाइल कंपनियों, ब्रांड मालिकों, आयातकों और विक्रेताओं को सलाह दी है कि वे कानून के सभी नियमों का कड़ाई से पाहन करें।
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अपराधियों को ट्रैक करना हो जाता है मुश्किल

नए टेलीकम्युनिकेशन एक्ट 2023 में IMEI से छेड़छाड़ पर कड़े प्रावधान किए गए हैं। सरकार का कहना है कि IMEI नंबर से छेड़छाड़ करने से अपराधियों को ट्रैक करना मुश्किल हो जाता है। इसलिए देश की टेलीकॉम सुरक्षा को मजबूत करने के लिए IMEI रजिस्ट्रेशन और उसके साथ छेड़छाड़ पर पूरी तरह रोक लगाई गई है।

टेलीकम्युनिकेशन एक्ट, 2023 के तहत, अगर कोई व्यक्ति यह जानते हुए भी किसी ऐसे मोबाइल, मॉडेम, मॉड्यूल या SIM बॉक्स को अपने पास रखता है जिसमें नकली या छेड़छाड़ किया हुआ IMEI है, तो यह भी अपराध माना जाएगा। ये सभी अपराध कॉग्निजेबल और गैर-जमानती हैं, यानी पुलिस बिना वारंट गिरफ्तारी कर सकती है और आसानी से जमानत नहीं मिलेगी।

ये भी हैं नियम

Telecom Cyber Security Rules, 2024 में यह भी कहा गया है कि कोई भी व्यक्ति किसी डिवाइस के यूनिक पहचान नंबर (जैसे IMEI) को हटाने, बदलने या मिटाने की कोशिश नहीं कर सकता। न ही कोई ऐसा सॉफ्टवेयर या हार्डवेयर अपने पास रख सकता है जो IMEI बदलने की क्षमता रखता हो।

जो डिवाइस प्रोग्रामेबल IMEI की सुविधा देते हैं, उन्हें भी कानून के अनुसार “छेड़छाड़ किए हुए” माना जाएगा और उनके इस्तेमाल या बिक्री पर सख्त सज़ा होगी। भारत में मोबाइल या अन्य IMEI वाले डिवाइस बेचने या टेस्ट करने से पहले, सभी निर्माताओं और आयातकों को हर IMEI नंबर को सरकार के ‘Device Setu (ICDR)’ पोर्टल पर रजिस्टर करना जरूरी है।

DoT ने कहा है कि ये नियम देश की टेलीकॉम सुरक्षा, नकली डिवाइसों पर रोक, कानून-व्यवस्था में मदद और टैक्स व नियमों के पालन के लिए बेहद जरूरी हैं। जो लोग नियमों का पालन नहीं करेंगे, उन्हें कड़ी कानूनी कार्रवाई झेलनी पड़ेगी।

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लेखकों के बारे में

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Upstox Hindi News Desk पत्रकारों की एक टीम है जो शेयर बाजारों, अर्थव्यवस्था, वस्तुओं, नवीनतम व्यावसायिक रुझानों और व्यक्तिगत वित्त को उत्साहपूर्वक कवर करती है।

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