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3 min read | अपडेटेड November 28, 2025, 10:44 IST
सारांश
एचडीएफसी बैंक को वित्त मंत्रालय से कैपिटल गेन्स अकाउंट स्कीम (CGAS) शुरू करने की मंजूरी मिल गई है। अब ग्राहक प्रॉपर्टी या एसेट बेचने से हुए मुनाफे को इस अकाउंट में जमा कर टैक्स बचा सकेंगे। पहले यह सुविधा ज्यादातर सरकारी बैंकों में ही उपलब्ध थी। जल्द ही बैंक इसके नियम और शर्तें जारी करेगा।

एचडीएफसी बैंक अब अपने ग्राहकों के लिए कैपिटल गेन्स अकाउंट स्कीम की सुविधा शुरू करेगा।
HDFC Bank CGAS Scheme: देश के सबसे बड़े प्राइवेट सेक्टर बैंक एचडीएफसी बैंक के करोड़ों ग्राहकों के लिए एक बहुत ही काम की खबर आई है। अगर आप प्रॉपर्टी, जमीन या घर बेचने की योजना बना रहे हैं, तो अब टैक्स बचाना आपके लिए और भी आसान होने वाला है। एचडीएफसी बैंक ने घोषणा की है कि उसे कैपिटल गेन्स अकाउंट स्कीम यानी सीजीएएस (CGAS) शुरू करने के लिए मंजूरी मिल गई है। यह मंजूरी मिलना बैंक और उसके ग्राहकों दोनों के लिए बड़ी बात है, क्योंकि अब तक इस तरह की स्कीम के लिए लोगों को अक्सर सरकारी बैंकों के चक्कर काटने पड़ते थे।
बैंक ने इस मंजूरी पर खुशी जाहिर की है। एचडीएफसी बैंक ने आधिकारिक तौर पर कहा है कि उन्हें कैपिटल गेन्स अकाउंट स्कीम शुरू करने की अनुमति मिलने पर बेहद खुशी है। बैंक ने इसके लिए वित्त मंत्रालय का शुक्रिया अदा किया है। बैंक का मानना है कि मंत्रालय ने प्राइवेट सेक्टर के बैंकों को इस स्कीम में भाग लेने का मौका देकर बड़ा कदम उठाया है। इस फैसले से ग्राहकों को बेहतर सेवाएं मिलेंगी और उनके पास अब ज्यादा विकल्प मौजूद होंगे। बैंक का कहना है कि यह स्कीम ग्राहकों को एक सही ढांचे के तहत अपने कैपिटल गेन्स यानी पूंजीगत लाभ को मैनेज करने में मदद करेगी।
इस खबर को आसान भाषा में समझने की जरूरत है। जब भी कोई व्यक्ति अपना घर, जमीन या कोई अन्य बड़ी संपत्ति बेचता है, तो उसे उस बिक्री पर मुनाफा होता है। इनकम टैक्स की भाषा में इसे 'कैपिटल गेन' कहते हैं। इस मुनाफे पर सरकार को टैक्स देना होता है। हालांकि, सरकार टैक्स बचाने का मौका भी देती है। अगर आप उस मुनाफे के पैसे को एक तय समय के भीतर दूसरा घर खरीदने या किसी और छूट वाली जगह पर निवेश कर देते हैं, तो आपको टैक्स नहीं देना पड़ता। लेकिन कई बार ऐसा होता है कि प्रॉपर्टी बेचने के तुरंत बाद हम नई प्रॉपर्टी नहीं खरीद पाते और इनकम टैक्स रिटर्न भरने की तारीख आ जाती है। ऐसी स्थिति में उस पैसे को 'कैपिटल गेन्स अकाउंट' में जमा करना होता है ताकि टैक्स छूट का दावा किया जा सके। अब तक यह खास खाता ज्यादातर सरकारी बैंकों में ही खुलता था। एचडीएफसी बैंक को मंजूरी मिलने से अब ग्राहक अपने नियमित बैंक में ही यह खाता खुलवा सकेंगे और उन्हें दूसरे बैंकों में जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी।
एचडीएफसी बैंक ने बताया है कि यह स्कीम ग्राहकों को बिक्री से लेकर दोबारा निवेश करने तक की प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए डिजाइन की गई है। इससे ट्रांजिशन बहुत ही स्मूथ हो जाएगा। हालांकि, अभी बैंक ने यह नहीं बताया है कि यह खाता कब से खुलना शुरू होगा और इसके लिए क्या दस्तावेज लगेंगे। बैंक ने कहा है कि वह जल्द ही इस स्कीम की पात्रता, फीचर्स और अन्य जरूरी जानकारियों को साझा करेगा। तब तक ग्राहकों को थोड़ा इंतजार करना होगा। लेकिन यह तय है कि इस कदम से उन लोगों को बड़ी राहत मिलेगी जो अपने वित्तीय लेन-देन के लिए एचडीएफसी बैंक पर भरोसा करते हैं। बाजार के जानकारों का मानना है कि इससे बैंक के पास ज्यादा डिपॉजिट आएगा और ग्राहकों को एक ही छत के नीचे सारी सुविधाएं मिल सकेंगी।
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