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3 min read | अपडेटेड March 03, 2025, 12:45 IST
सारांश
Coffee Day Enterprises Share: 27 फरवरी नेशनल कंपनी लॉ अपीलेट ट्रिब्यूनल (NCLAT) ने कॉफी डे एंटरप्राइजेज लिमिटेड के खिलाफ दिवालिया कार्यवाही को रद्द कर दिया। इस खबर के बाद आज कॉफी डे एंटरप्राइजेज के शेयरों में जमकर खरीदारी देखने को मिल रही है।
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Coffee Day Enterprises Share: कॉफी डे एंटरप्राइजेज का 52-वीक हाई 74.54 रुपये और 52-वीक लो 21.38 रुपये है।
दरअसल, 27 फरवरी को नेशनल कंपनी लॉ अपीलेट ट्रिब्यूनल (NCLAT) ने कॉफी डे एंटरप्राइजेज लिमिटेड के खिलाफ दिवालिया कार्यवाही को रद्द कर दिया। इस खबर के बाद आज कॉफी डे एंटरप्राइजेज के शेयरों में जमकर खरीदारी देखने को मिल रही है।
आज की तेजी के साथ कंपनी का मार्केट कैप बढ़कर 541.44 करोड़ रुपये हो गया है। कॉफी डे एंटरप्राइजेज का 52-वीक हाई 74.54 रुपये और 52-वीक लो 21.38 रुपये है। यह शेयर अपने 52-वीक हाई से अभी भी करीब 65 फीसदी डाउन है।
एनसीएलएटी की चेन्नई पीठ के न्यायमूर्ति शरद कुमार शर्मा और जतिंद्रनाथ स्वैन की दो सदस्यीय पीठ ने नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल की बेंगलुरु पीठ द्वारा पारित पहले के आदेश को खारिज कर दिया। नया आदेश ओपन कोर्ट में सुनाया गया, और विस्तृत आदेश का अभी भी इंतजार है।
CDEL कॉफी डे ग्रुप की मूल कंपनी है जो कैफे कॉफी डे चेन का संचालन करती है। यह एक रिजॉर्ट की भी मालिक है। पिछले सप्ताह CDEL के खिलाफ दिवाला कार्यवाही दोबारा शुरू की गई थी, क्योंकि एनसीएलएटी उच्चतम न्यायालय द्वारा तय 21 फरवरी की समयसीमा के भीतर आदेश पारित नहीं कर पाया था।
पिछले साल आठ अगस्त को एनसीएलटी की बेंगलुरु पीठ ने IDBI ट्रस्टीशिप सर्विसेज लिमिटेड (IDBITSL) द्वारा दायर याचिका को स्वीकार कर लिया था, जिसमें 228.45 करोड़ रुपये के कर्ज भुगतान चूक का दावा किया गया था। इसके साथ ही कर्ज में डूबी कंपनी के संचालन के लिए एक अंतरिम समाधान पेशेवर नियुक्त किया गया था।
हालांकि, कंपनी के निलंबित बोर्ड ने एनसीएलटी के इस आदेश को फौरन अपीलीय न्यायाधिकरण एनसीएलएटी के समक्ष चुनौती दी थी। अपीलीय न्यायाधिकरण ने 14 अगस्त, 2024 को CDEL के खिलाफ शुरू दिवाला कार्यवाही पर रोक लगा दी थी।
एनसीएलएटी के इस आदेश को IDBITSL ने उच्चतम न्यायालय में चुनौती दी थी, जिसने 31 जनवरी, 2025 को एनसीएलएटी की चेन्नई पीठ को 21 फरवरी, 2025 से पहले अपील का निपटारा करने का निर्देश दिया था।
जुलाई, 2019 में CDEL के फाउंडर चेयरमैन वी जी सिद्धार्थ की मृत्यु के बाद से ही कंपनी संकट के दौर से गुजर रही है। यह एसेट रिजॉल्यूशन के माध्यम से अपने कर्ज को कम करने की कोशिश में लगी हुई है।
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