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4 min read | अपडेटेड September 10, 2025, 11:41 IST
सारांश
Silver Price: आज के समय में चांदी सिर्फ सेफ-हेवन (सुरक्षित निवेश) नहीं रह गई, बल्कि अब एक इंडस्ट्रियल मेटल बन चुकी है। इसमें जबरदस्त रैली के लिए इंडस्ट्रियल डिमांड और सप्लाई में कमी जैसे फैक्टर्स जिम्मेदार हैं। अब सवाल यह है कि क्या अभी यह रैली बाकी है या खत्म हो गई?
Silver Price: एक्सपर्ट्स को लगता है कि आने वाले सालों में चांदी के दाम ₹1.5 लाख से ₹2 लाख/किलो तक जा सकते हैं।
मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX) पर चांदी में आज खरीदारी नजर आई। रिपोर्ट लिखे जाने के समय यह 0.44 फीसदी यानी 550 रुपये की बढ़त के साथ 125003 रुपये प्रति किलोग्राम पर था। इंटरनेशनल मार्केट की बात करें तो चांदी आज 0.43 फीसदी की बढ़त के साथ 41.06 डॉलर प्रति औंस पर था।
आज के समय में चांदी सिर्फ सेफ-हेवन (सुरक्षित निवेश) नहीं रह गई, बल्कि अब एक इंडस्ट्रियल मेटल बन चुकी है। इसमें जबरदस्त रैली के लिए इंडस्ट्रियल डिमांड और सप्लाई में कमी जैसे फैक्टर्स जिम्मेदार हैं। अब सवाल यह है कि क्या शानदार रैली के बाद चांदी की कीमतों में सुस्ती आएगी या अभी यह रैली बाकी है? आइए जानते हैं एक्सपर्ट्स की क्या है राय।
एक्सपर्ट्स को लगता है कि आने वाले सालों में चांदी के दाम ₹1.5 लाख से ₹2 लाख/किलो तक जा सकते हैं। मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज की एक रिपोर्ट के अनुसार, मजबूत इंडस्ट्रियल डिमांड, कमजोर डॉलर और वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच आने वाले महीनों में चांदी की कीमतें 1.5 लाख रुपये प्रति किलोग्राम तक पहुंच सकती हैं।
इसके अलावा, इंटरनेशनल मार्केट्स की बात करें तो चांदी 50 डॉलर प्रति औंस के स्तर को छू सकती है। अपने तिमाही पूर्वानुमान में, वित्तीय सेवा कंपनी ने कहा कि चांदी ने मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX) पर इस साल अबतक लगभग 37 फीसदी का प्रॉफिट दिया है, जो कई एसेट क्लास से बेहतर प्रदर्शन है।
रिपोर्ट कहती है, ‘‘हमें उम्मीद है कि घरेलू मोर्चे पर कीमतें छह महीनों में धीरे-धीरे 135000 रुपये प्रति किलोग्राम और फिर 12 महीनों में 150000 रुपये प्रति किलोग्राम की ओर बढ़ेंगी, बशर्ते रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 88.5 के आसपास कारोबार करे।’’
चांदी को निवेश और इंडस्ट्रियल डिमांड, जियो-पॉलिटिकल टेंशन और प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में मौद्रिक नीति में ढील की उम्मीदों से सपोर्ट मिल रहा है। रिपोर्ट के अनुसार, अपने पिछले लक्ष्यों को हासिल करने के बाद चांदी में और भी तेजी आने की संभावना है।
मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज लिमिटेड (MOFSL) को उम्मीद है कि कॉमेक्स चांदी वायदा शुरुआत में 45 डॉलर प्रति औंस और तेजी के अगले चरण में 50 डॉलर प्रति औंस के स्तर को छू सकता है। रिपोर्ट में इस बात पर प्रकाश डाला गया है कि चांदी के तेजी के अनुमान को कई फैक्टर्स का समर्थन प्राप्त है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि अमेरिका स्थित सिल्वर इंस्टिट्यूट का अनुमान है कि वर्ष 2025 में औद्योगिक मांग कुल उत्पादन का लगभग 60 फीसदी हो सकती है। सौर ऊर्जा, इलेक्ट्रिक वाहन और 5जी इन्फ्रास्ट्रक्चर जैसी हरित प्रौद्योगिकियों की मांग अगली कुछ तिमाहियों में चांदी के लिए सकारात्मक तस्वीर पेश करती रहेगी।
भारत ने वर्ष 2025 की पहली छमाही में 3000 टन से अधिक चांदी का आयात किया है। भारत में चांदी ईटीएफ में इस वर्ष एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM) में भी तेज वृद्धि देखी गई है। कॉमेक्स पर चांदी में इस साल अब तक 41.6 फीसदी की वृद्धि हुई है, जबकि सोने में 34.6 फीसदी की वृद्धि हुई है। इसके विपरीत, लंदन मेटल्स एक्सचेंज पर तांबे जैसी आधार धातुओं में अपेक्षाकृत मामूली 14 फीसदी की वृद्धि देखी गई है।
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