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  1. क्या फिर से बढ़ेगी PM-KUSUM स्कीम की डेडलाइन, क्यों सरकार को उठाना पड़ सकता है ऐसा कदम?

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क्या फिर से बढ़ेगी PM-KUSUM स्कीम की डेडलाइन, क्यों सरकार को उठाना पड़ सकता है ऐसा कदम?

Upstox

2 min read | अपडेटेड October 07, 2025, 12:31 IST

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सारांश

आधिकारिक सूत्र ने यह जानकारी दी। प्रधानमंत्री किसान ऊर्जा सुरक्षा एवं उत्थान महाभियान (पीएम-कुसुम) योजना 2019 में शुरू की गई थी। इसका लक्ष्य 2022 तक 30,800 मेगावाट की सौर क्षमता जोड़ना था। इसमें कार्यान्वयन एजेंसियों के लिए सेवा शुल्क सहित कुल 34,422 करोड़ रुपये की केंद्रीय वित्तीय सहायता शामिल थी।

PM-KUSUM

पीएम कुसुम स्कीम के लिए सरकार फिर बढ़ा सकती है डेडलाइन

सरकार पीएम-कुसुम योजना की डेडलाइन एक बार फिर बढ़ा सकती है, क्योंकि इस पहल के दो प्रमुख घटक अपने लक्ष्य का 50% भी हासिल नहीं कर पाए हैं। आधिकारिक सूत्र ने यह जानकारी दी। प्रधानमंत्री किसान ऊर्जा सुरक्षा एवं उत्थान महाभियान (पीएम-कुसुम) योजना 2019 में शुरू की गई थी। इसका लक्ष्य 2022 तक 30,800 मेगावाट की सौर क्षमता जोड़ना था। इसमें कार्यान्वयन एजेंसियों के लिए सेवा शुल्क सहित कुल 34,422 करोड़ रुपये की केंद्रीय वित्तीय सहायता शामिल थी। केंद्र ने बाद में पीएम-कुसुम योजना को मार्च 2026 तक बढ़ा दिया क्योंकि वैश्विक महामारी के कारण इसका कार्यान्वयन काफी प्रभावित हुआ था। लक्ष्य को भी संशोधित कर 34,800 मेगावाट कर दिया गया था।

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एक आधिकारिक सूत्र ने बताया कि निर्धारित लक्ष्यों की प्राप्ति सुनिश्चित करने के लिए पीएम कुसुम के कार्यान्वयन की डेडलाइन को और बढ़ाए जाने के आसार हैं। यह इस योजना का दूसरा विस्तार होगा। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, इस महत्वाकांक्षी योजना के किसी भी घटक ने 100% लक्ष्य हासिल नहीं किया है। योजना का घटक ‘B’ (जो मार्च 2026 को समाप्त होगा) 9 सितंबर तक लक्ष्य का 71% पूरा करने में सक्षम रहा है। घटक ‘A’ ने केवल 6.5% की वृद्धि दर्ज की है। घटक ‘C’- व्यक्तिगत पंप का सौरीकरण (आईपीएस) एवं घटक ‘D’ - फीडर स्तरीय सौरीकरण (एफएलएस) ने क्रम से 16.5% और 25.5% की वृद्धि दर्ज की है।

नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (एमएनआरई) के अनुसार, घटक ‘A’ छोटे सौर ऊर्जा संयंत्रों की स्थापना करके 10,000 मेगावाट सौर क्षमता की स्थापना से जुड़ा है। घटक ‘B’ 14 लाख ऑफ-ग्रिड एकल सौर ऊर्जा चालित कृषि पंपों की स्थापना और घटक ‘C’ 35 लाख ग्रिड से जुड़े कृषि पंपों के सौरीकरण से संबद्ध है। घटक ‘A’ के तहत 650.49 मेगावाट क्षमता स्थापित की गई है। दूसरी ओर घटक ‘B’ के तहत 12.72 लाख से अधिक ऑफ-ग्रिड सौर पंप स्वीकृत किए गए हैं, जिनमें से 9.03 लाख स्थापित किए जा चुके हैं।

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Upstox Hindi News Desk पत्रकारों की एक टीम है जो शेयर बाजारों, अर्थव्यवस्था, वस्तुओं, नवीनतम व्यावसायिक रुझानों और व्यक्तिगत वित्त को उत्साहपूर्वक कवर करती है।

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